पार्टी सूत्रों ने कहा कि मायावती ने इस साल अपना जन्मदिन कई कारणों से नहीं मनाने का फैसला किया है, जिसमें पिछले साल नवंबर में पिता का निधन, कोविड महामारी और किसान आंदोलन शामिल है।
उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं को 15 जनवरी को आत्मसंयम के दिन के रूप में मनाने और गरीबों के बीच कपड़े और कंबल वितरित करने को कहा है।
श्रमिकों को कंबल, कपड़े वितरित करने और यदि संभव हो तो, जरूरतमंद लोगों को वित्तीय सहायता देने के लिए कहा गया है। पार्टी के वरिष्ठ सदस्य विभिन्न जिलों में कार्यों की देखरेख करेंगे।
पार्टी के एक पदाधिकारी ने कहा, इस साल पिछले वर्षों की तुलना में एक बड़ा बदलाव होगा, जब मायावती का जन्मदिन बड़े पैमाने पर मनाया जाता था। केक हर जिले में काटे जाते थे और केक का वजन उनकी उम्र से मेल खाता था।
इस साल जन्मदिन पर मायावती के लखनऊ आने की संभावना नहीं है।
अधिकारी ने कहा, अभी तक हमें उनके लखनऊ आने के कार्यक्रम के बारे में सूचित नहीं किया गया है। संभवत:, वह अपने जन्मदिन पर दिल्ली में रहेंगी।
–आईएएनएस
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