35 उम्र, 2 बच्चों की मां ने लगाई 704 बार छलांग।

पुणे की शीतल राणे महाजन ने थाइलैंड में सोमवार को अनोखा रिकॉर्ड अपने नाम कर लिया है।  महिला ने रंगीन नौवारी साड़ी पहनकर स्काइडाइविंग किया. वह विमान से लगभग 13 हजार फीट की ऊंचाई से दो बार छलांग लगाने में सफल रहीं।
 दिलचस्प बात ये है कि शीतल पहले भी अपनी प्रतिभा कई बार साबित कर चुकी है।  दुनियाभर में उसके नाम कई रिकॉर्ड दर्ज हैं। स्काइडाइविंग के बाद महाजन ने आईएएनएस से कहा कि वह विश्व प्रसिद्ध पर्यटक रिसॉर्ट पट्टाया के ऊपर एक विमान से लगभग 13 हजार फीट की ऊंचाई से छलांग लगाने में सफल रहीं.शीतल ने कहा- “मैं अगले महीने आने वाले अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर कुछ अलग करना चाहती थी. इसलिए मैंने अपने स्काइडाइव के लिए नौवारी साड़ी पहनने का निर्णय लिया.”
शीतल ने स्काइडाइविंग कमांडर कमल सिंह ओबड से प्रेरित हो कर शुरू किया था। कमल सिंह ओबड पहले भारतीय थे जिन्होंने नॉर्थ पोल और साउथ पोल पर स्काइडाइविंग की थी। महिला के नाम पर छह अंतर्राष्ट्रीय रिकार्ड और पूरे विश्व में 704 जंप लगाने का रिकार्ड है। उन्हें कई राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय अवॉर्ड दिया गया है.पद्मश्री विजेता और दो जुड़वा बच्चों की मां शीतल राणे-महाजन ने अबतक 18 राष्ट्रीय स्तर के स्काइडाइविंग रिकार्ड अपने नाम किए हैं.
35 वर्षीय जाबांज महिला ने कहा, “मैं यह साबित करना चाहती थी कि भारतीय महिला न केवल अपने सामान्य दिनचर्या में यह साड़ी पहन सकती है बल्कि स्काइडाइविंग जैसे जोखिम भरे एडवेंचर को भी अंजाम दे सकती है.”शीतल ने कहा कि देश में महिलाएं विभिन्न तरह की साड़ी पहनती हैं, लेकिन महाराष्ट्र की नौवारी साड़ी को पहनना और इसे संभालना सबसे मुश्किल है।
उन्होंने माना कि साड़ी के साथ स्काइडाइव करने के लिए पहले से ही उन्होंने काफी अतिरिक्त तैयारी और एहतियात बरती, कई जगह पिन लगाई, कई जगह इसे कसकर बांधा ताकि साड़ी के साथ थाइलैंड की खाड़ी की तेज हवाओं का सही से सामना किया जा सके.शीतल की साड़ी करीब 8.25 मीटर लंबी थी, जो आम भारतीय साड़ियों से ज्यादा लंबाई की है.अपनी पहली लैंडिंग में थोड़ी लड़खडाई लेकिन उसे सुरक्षित तरीके से अंजाम देने वाली शीतल ने कहा- “पहले साड़ी पहनना, इसके ऊपर पैराशूट पहनना, फिर सेफ्टी गियर, संचार सामग्री, हेलमेट, गोगल्स, जूते इत्यादि पहनने व लगाने ने स्काइडाइविंग को चैलेंजिंग बना दिया था.