गेम का लालच देकर 5 से 16 साल के बच्चों का यौन-शोषण, इंजीनियर के मोबाइल से मिले 66 पॉर्न वीडियो 

बांदा. ऑनलाइन टीम : मोबाइल से घंटों चिपके रहने की आदत बच्चों को बर्बाद कर रही है। मना करने पर कई जानलेवा हादसे हो चुके हैं। इसलिए अभिभावक भी कड़े कदम उठाने से डरते हैं। इसका ही फायदा एक इंजीनियर ने उठाया। बच्चे उन्हें जेई अंकल कहकर बुलाते थे। मोबाइल में वीडियो गेम खेलने का ऑफर मिलते ही उनके घर पर बच्चों का तांता लग जाता था। बच्चों की मानें उनके पास तमाम मोबाइल हैं, जिनमें एक-एक बच्चे को अलग-अलग समय घर पर बुलाकर घंटों मोबाइल पर गेम खिलाते थे, लेकन बच्चों को नहीं मालूम उनके साथ वहां क्या होने वाला है।

दरअसल, निलंबित जेई रामभवन कुत्सित मानसिकता वाला इंसान था। उसके दिमाग में बाल यौन-शोषण भरा हुआ था, इसलिए बच्चों को मोबाइल गेम के बहाने अपने पास बुलाता था। फिलहाल आरोपी जेई मंडल कारागार में कैद है। उसके घर से मिले आठ मोबाइल फोन, पेन ड्राइव और दूसरे इलेक्ट्रॉनिक सामान को खंगाल रही है। उसके पास से 66 पॉर्न वीडियो और 600 फोटो बरामद हुई हैं।

जानकारी के अनुसार, वह आर्थिक रूप से कमजोर परिवार के 5 से 16 साल की उम्र वाले बच्चों को ही अपना निशाना बनाता था। ज्यादातर दिहाड़ी मजदूरी करने वाले, फुटपाथ पर सामान बेचने वाले और ठेके पर काम करने वाले घरों के बच्चे होते थे। वह अब तक 50 बच्चों को अपना निशाना बना चुका था। बच्चों का यौन शोषण करने के दौरान वह मोबाइल से वीडियो क्लिप और फोटो बनाता था। बाद में इसे इंटरनेट के जरिए डार्क वेब पर बेचता था।

मूलरूप से बांदा निवासी जेई रामभवन की पोस्टिंग आसपास के जिलों में ही रही। अब सीबीआई टीम पीड़ितों का पता लगाने और उनके बयान दर्ज करने और रामभवन के खिलाफ पुख्ता सबूत एकत्र कर केस को मजबूत करने की कोशिश कर रही है। सीबीआई ने अब तक 10 बच्चों की पहचान कर ली है जिन्हें जेई ने यौन शोषण के जाल में फंसाया था  सीबीआई टीम ने डेढ़ महीने की गहन छानबीन के बाद 16 दिन तक गिरफ्तारी का जाल बुना था। रामभवन के तार दिल्ली और सोनभद्र तक जुड़े थे, इसके बाद उस पर शिकंजा कसा गया।