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नई दिल्ली, 17 जून (आईएएनएस)| सर्वोच्च न्यायालय ने सोमवार को एक जनहित याचिका (पीआईएल) पर सुनवाई पर सहमति जताई। इस याचिका में सरकारी अस्पतालों में चिकित्सकों पर अक्सर हमलों के मद्देनजर सुरक्षा की तैनाती की मांग की गई है।
न्यायमूर्ति दीपक गुप्ता व सूर्यकांत की अवकाश पीठ ने मामले को मंगलवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया।
इस याचिका में अदालत से केंद्र व पश्चिम बंगाल सरकार को ‘सक्षम वातावरण’ प्रदान करने, खास तौर से देश भर के सरकारी अस्पतालों में सुरक्षा को लेकर निर्देश देने की मांग की गई है।
कोलकाता के एनआरएस अस्पताल में 10 जून को एक जूनियर चिकित्सक पर मरीज के संबंधियों के हमले से पश्चिम बंगाल में विरोध प्रदर्शन शुरू हुआ। मरीज की अस्पताल में मौत हो गई थी। इसमें कथित तौर पर चिकित्सा लापरवाही की बात कही गई।
देश भर के चिकित्सकों ने 14 जून को पश्चिम बंगाल के अपने समकक्षों के साथ एकजुटता का संकेत देते हुए कार्य का बहिष्कार किया।
इस याचिका में जूनियर चिकित्सक पर क्रूर हमले के मीडिया रिपोर्ट का हवाला दिया गया है। जूनियर चिकित्सक की पहचान परिबाहा मुखर्जी के तौर पर की गई है।
याचिका वकील आलोक श्रीवास्तव द्वारा दायर की गई है। इसमें इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) के अध्ययन का हवाला दिया गया, जिसमें कहा गया है कि देश भर में 75 फीसदी चिकित्सकों ने किसी भी रूप में हिंसा का सामना किया है।