धारा 370 : तुर्की-मलेशिया ने दिया था पाकिस्तान का साथ, अब भारत सिखाएगा सबक

नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन – जम्मू-कश्मीर से धारा 370 हटाने के बाद से पाकिस्तान बौखलाया हुआ है। पाकिस्तानी संघठन आतंकी लगातार भारत के माहौल को बिगड़ने के कोशिश में लगा हुआ है। बात-बात पर पाकिस्तान भारत को युद्ध की गीदड़ भभकी देते रहता है। हालांकि भारत के द्वारा कई बार कहा गया है कि कश्मीर भारत का आंतरिक मामला है। उस पर फैसला लेना भारत के अधिकार में है। इसके बावजूद इस मुद्दे तुर्की और मलेशिया पाकिस्तान का साथ दे रहा है।

ऐसे में अब भारत सरकार तुर्की-मलेशिया को सबक सिखाएगा। भारत दोनों देशों को बड़ा व्यापारिक झटका देने की तैयारी में है। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, मोदी सरकार मलेशिया और तुर्की से आयात किए जाने वाले सामानों में कटौती करने पर विचार कर रही है। इसके साथ ही दोनों देशों पर नए आयात शुल्क लगाने पर भी विचार किया जा रहा है। मोदी सरकार तुर्की-मलेशिया के साथ आयात को सीमित करने के लिए टैरिफ और नॉन-टैरिफ दोनों विकल्पों पर विचार कर रही है।  जानकारी के मुताबिक, भारत सरकार तुर्की और मलेशिया पर जटिल गुणवत्ता जांच, पहले से लगे टैक्स के साथ ही अतिरिक्त तौर पर एक और सेफगार्ड टैक्स भी लगा सकती है। हालांकि अगर ऐसा हुआ तो तुर्की और मलेशिया की अर्थव्यवस्था पर बड़ा असर पड़ेगा। बता दें कि भारत का इन दोनों देशों के साथ द्विपक्षीय व्यापार 31 मार्च, 2019 को खत्म हुए वित्त वर्ष में महज़ 2.9 फीसदी रहा।


तुर्की और मलेशिया ने दिया था पाकिस्तान का साथ –

चीन के साथ ही तुर्की और मलेशिया भी खुले तौर पर पाकिस्तान के साथ दे चूका है। तुर्की के राष्ट्रपति रिसेप तैयब एर्डोगन ने हाल ही में कश्मीर की तुलना फिलिस्तीन से की थी। तुर्की में एर्डोगन की तुलना सद्दाम हुसैन, बशर अल असाद और मुअम्मर गद्दाफी जैसे तानाशाहों से की जा रही है।

पिछले महीने संयुक्त राष्ट्र महासभा में कश्मीर मुद्दे को उठाते हुए मलेशिया के प्रधानमंत्री महातिर मोहम्मद ने आरोप लगाया था कि भारत ने जम्मू-कश्मीर पर ‘आक्रमण करके कब्जा’ किया है। उन्होंने कहा था कि भारत को इस मुद्दे के समाधान के लिए पाकिस्तान के साथ काम करना चाहिए।

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