अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाने वालों को दबाया जा रहा : अजीत पवार

आंगनवाड़ी सेविकाओं, सहायकों और पर्यवेक्षकों को जिला स्तरीय पुरस्कार का वितरण करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा

पुणे : समाचार ऑनलाइन – प्रधानमंत्री ने खुद को प्रधानसेवक और मुख्यमंत्री ने मुख्यसेवक के रूप देखने की शुरुआत की, लेकिन उनके व्यवहार में कही भी सेवक का भाव नजर नही आ रहा है. इसके उलट अपने अधिकारों के लिए आवाज उठाने वालों को दबाया जा रहा है. देश में एक-दूसरे को फंसाने और दिखावा जारी है. सरकार के कहने और करने में काफी बड़ा अंतर है. यह तीखी टिप्पणी पूर्व मुख्यमंत्री अजीत पवार ने की है.

जिला परिषद की महिला व बाल कल्याण विभाग की तरफ से आदर्श आंगनवाड़ी सेविका, सहायक व पर्यवेक्षकों को जिला स्तरीय पुरस्कारों का अजीत पवार के हाथों वितरण किया गया. इस अवसर पर वे बोल रहे थे.  इस दौरान जिला परिषद के अध्यक्ष विश्‍वास देवकाते, उपाध्यक्ष विवेक वलसे-पाटिल, सीईओ सूरज मांढरे, अतिरिक्‍त सीईओ नृसिंह मित्रगोत्री, अध्यक्षा रानी शेलके, प्रवीण माने, सुजाता पवार, सुरेखा चौरे, उप सीईओ दीपक चाटे आदि उपस्थित थे. कार्यक्रम में ‘बेटी बचाओ व बेटी बढाओ’ का नारा देते हुए कार्यक्रम अंतर्गत गुड्डा-गुड्डी फलक का अनावरण किया गया.

अजीत पवार ने कहा कि पिछले चुनाव के समय आंगनवाड़ी सेविकाओं को हर रोज साढ़े तीन सौ रुपए का मानधन देने की घोषणा भाजपा ने की थी. सरकार को 4 वर्ष पूरे हो गए हैं. लेकिन सरकार यह घोषणा भूल गई है. राज्य में 2 लाख आंगनवाड़ी सेविका हैं. उन्हें 18 हजार रुपए मानधन मिलना चाहिए. तेलंगाणा व केरल में आंगनवाड़ी सेविकाओं को 10 हजार, हरियाणा में 8 हजार रुपए मानधन मिलता है. फिर महाराष्ट्र में देने में क्या दिक्‍कत है? मानधन बढ़ाने की बात तो छोड़ दें, लेकिन अपने अधिकार के मानधन के लिए हड़ताल करने वाली आंगनवाड़ी सेविकओं पर मेस्मा लगाया जाता है. मात्र डेढ हजार रुपए की वृद्धि कर सरकार ने आंगनवाड़ी सेविकाओं को मनाने का प्रयास किया है. रानी शेलके ने कहा कि पोषण आहार निकृष्ट दर्जा का मिल रहा है. इस तरफ सरकार ध्यान दे. इसके लिए फंड की भारी कमी है. प्राथमिकता से इस पर ध्यान देकर इस समस्या का समाधान किया जाए.

सूरज मांढरे ने कहा कि ग्राम पंचायत या अन्य जगहों पर गया तो वहां कार्रवाई करनी होगी. वहां पर नकारात्मक काम दिखता है. लेकिन आंगनवाड़ी जाने पर संतुष्टि मिलती है. जल्द से जल्द 100 प्रतिशत आंगनवाड़ियों को बिजली और पानी का कनेक्शन दिया जाएगा. आशीष जराड ने सूत्र संचालन किया. दीपक चाटे ने आभार जताया.

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