बयान में कहा गया, इस समझौता ज्ञापन का उद्देश्य मुख्य रूप से पर्यावरण प्रबंधन, तटीय क्षेत्रों और कम्यूनिटीज, महासागरीय डेटा विश्लेषण, पर्यावरणीय प्रभाव अध्ययन और उपचारात्मक और शमन उपायों की पहचान करने और नीति अनुसंधान में योगदान के अलावा पर्यावरणीय प्रभाव की भविष्यवाणी करने के लिए मॉडलिंग करना है।
वैज्ञानिक और औद्योगिक अनुसंधान परिषद के तत्वावधान में कार्य करने वाला एनआईओ और उद्योग और आंतरिक व्यापार को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार के विभाग की एक शाखा एनपीसी देश की नदियों, समुद्रों और अन्य समुद्री निकायों में मैक्रो और माइक्रोप्लास्टिक्स के मूल्यांकन पर भी ध्यान केंद्रित करेगा।
दोनों संगठन संयुक्त रूप से महासागरीय मॉडलिंग और डेटा विश्लेषण पर्यावरणीय कारकों और प्रदूषकों से संबंधित और तटीय नियामक क्षेत्र, समुद्री पर्यावरण और पूवार्नुमान में संबंधित प्रभाव का आकलन करेंगे।
–आईएएनएस
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