खरीफ धान के एमएसपी में 72 रुपये प्रति क्विंटल, कपास में 211 रुपये की बढ़ोतरी

नई दिल्ली, 9 जून (आईएएनएस)। किसानों के विरोध के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने विपणन सीजन 2021-22 के लिए सभी अनिवार्य खरीफ फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) में वृद्धि को मंजूरी दे दी है।

दोनों ग्रेड के धान के एमएसपी में 72 रुपये प्रति क्विंटल, ज्वार में 118 रुपये, बाजरा में 100 रुपये, रागी में 82 रुपये और अरहर और उड़द के एमएसपी में 300 रुपये प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की गई है।

विपणन सीजन 2021-22 के लिए खरीफ फसलों के लिए एमएसपी में वृद्धि केंद्रीय बजट 2018-19 के अनुरूप है, जिसमें एमएसपी को अखिल भारतीय भारित औसत उत्पादन लागत (सीओपी) किसानों के लिए उचित पारिश्रमिक का लक्ष्य को कम से कम 1.5 गुना तय करने की घोषणा की गई है।

किसानों को उनकी उत्पादन लागत पर अपेक्षित लाभ बाजरा (85 प्रतिशत) के मामले में सबसे अधिक होने का अनुमान है, इसके बाद उड़द (65 प्रतिशत) और अरहर (62 प्रतिशत) का स्थान है। बाकी फसलों के लिए किसानों को उनकी उत्पादन लागत पर कम से कम 50 प्रतिशत की वापसी का अनुमान है।

सरकार ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में तिलहन, दलहन और मोटे अनाज के पक्ष में एमएसपी को फिर से संगठित करने के लिए ठोस प्रयास किए गए ताकि किसानों को इन फसलों के तहत बड़े क्षेत्र में भेजने और मांग-आपूर्ति असंतुलन को ठीक करने के लिए सबसे बेहतर तकनीकों और कृषि प्रथाओं को अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया जा सके।

पिछले वर्ष की तुलना में एमएसपी में सबसे अधिक पूर्ण वृद्धि की सिफारिश तिल (452 रुपये प्रति क्विंटल) की गई है, इसके बाद तुअर और उड़द (300 रुपये प्रति क्विंटल) की सिफारिश की गई है। मूंगफली और नाइजरसीड के मामले में पिछले साल की तुलना में 275 रुपये प्रति क्विंटल और 235 रुपये प्रति क्विंटल की वृद्धि हुई है।

दलहन उत्पादन में आत्मनिर्भरता प्राप्त करने के उद्देश्य से आगामी खरीफ 2021 सीजन में कार्यान्वयन के लिए एक विशेष रणनीति तैयार की गई है। अरहर, मूंग और उड़द के क्षेत्र विस्तार और उत्पादकता वृद्धि दोनों के लिए एक विस्तृत योजना तैयार की गई है।

तिलहन के लिए सरकार ने खरीफ सीजन 2021 के लिए किसानों को अधिक उपज देने वाली किस्मों के बीजों को मिनी किट के रूप में मुफ्त वितरण की महत्वाकांक्षी योजना को मंजूरी दी है। विशेष खरीफ कार्यक्रम तिलहन के तहत अतिरिक्त 6.37 लाख हेक्टेयर क्षेत्र लाएगा और इससे 120.26 लाख क्विंटल तिलहन और 24.36 लाख क्विंटल खाद्य तेल का उत्पादन होने की संभावना है।

–आईएएनएस

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