नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन – निर्भया केस मामले में उम्मीद जताई जा रही थी कि चारों दोषियों को 16 दिसंबर तक फांसी हो जाएगी। इस जघन अपराध को किये 7 साल हो गए लेकिन आज भी गुन्हेगारों को फांसी नहीं हुई। अब यह मामला और आगे बढ़ता दिख रहा है। कोर्ट ने पहले ही निर्भया गैंगरेप केस में चारों दोषियों को 7 जनवरी तक की मोहलत दे दी है और अब एक और ताजा जानकारी सामने आयी है। दरअसल फांसी की सजा पाए चारों दोषियों में से एक पवन कुमार गुप्ता ने दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की है।
पवन का दावा है कि दिसंबर 2012 में जब यह घटना हुई थी तब वह नाबालिग था। ऐसे में उसे इसका लाभ दिया जाना चाहिए। दोषी पवन गुप्ता की तरफ से दायर की गई याचिका में कहा गया है कि घटना के दौरान नाबालिग से संबंधित जांच भी नहीं कराई गई थी। पवन की याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट में आज सुनवाई होगी। पवन ने घटना के समय नाबालिग घोषित करने का अनुरोध करते हुए आरोप लगाया कि जांच अधिकारी ने उसकी उम्र का पता लगाने के लिए हड्डियों संबंधी जांच नहीं की। उसने जुवेनाइल जस्टिस कानून के तहत छूट का दावा किया। अपनी याचिका में दोषी ने कहा कि जेजे कानून की धारा 7ए में प्रावधान है कि नाबालिग होने का दावा किसी भी अदालत में किया जा सकता है और इस मुद्दे को किसी भी समय यहां तक कि मामले के अंतिम निपटारे के बाद भी उठाया जा सकता है।