दिल्ली का चुनाव सिर्फ 7 सीटों पर हार-जीत का नहीं, बहुत कुछ लगा है दांव पर 

 
नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन – पीएम नरेंद्र मोदी, राहुल गांधी, प्रियंका गांधी और अरविंद केजरीवाल के बीच तीखी बयानबाजी का दौर अब दिल्ली में चुनाव प्रचार थमने के साथ ही समाप्त हो गया है । राजधानी की 7 लोकसभा सीटों पर चुनाव प्रचार शुक्रवार को समाप्त हो गया और रविवार को अब मतदान होना है. दिल्ली में चुनाव प्रचार के दौरान एक-दूसरे पर नेताओं ने काफी तीखे हमले किये और खासतौर पर आम आदमी पार्टी की एक महिला कैंडिडेट के खिलाफ आपत्तिजनक परचा भी बड़े विवाद की वजह बना ।

हालांकि दिल्ली का यह लोकसभा चुनाव कांग्रेस और बीजेपी के लिए राष्ट्रीय पर सीटों का आंकड़ा बढ़ाने के लिए ही जरुरी नहीं है बल्कि इसके कई और मायने हैं । एक तरफ कांग्रेस 2013 में सत्ता से बेदखल होने के बाद राजधानी में अपनी जमीन मजबूतर करने में जुटी है तो दूसरी तरफ बीजेपी 2020 के विधानसभा चुनाव में यदि उसका परफॉरमेंस बेहतर रहता है तो उसे विधानसभा चुनाव में इसका लाफ होगा।

हाई प्रोफाइल कैंडिडेट ने बढ़ाई दिलचस्पी
 आम आदमी पार्टी के लिए भी काफी कुछ दांव पर है । बीते 4 सालों से वह दिल्ली सरकार के कामकाज में केंद्र के दखल को लेकर लड़ती रही है । दिल्ली की चुनावी जंग की रोचकता हाई प्रोफाइल प्रत्याशियों के मैदान में उतरने से भी बढ़ी है । बीजेपी ने पूर्वी दिल्ली से पूर्व क्रिकेटर गौतम गंभीर, कांग्रेस ने उत्तर पूर्वी दिल्ली से शीला दीक्षित और विजेंद्र कुमार को चुनाव मैदान में उतारा है ।

राष्ट्रीय सुरक्षा से ट्रैफिक जाम तक बना मुद्दा
दिल्ली में चुनावी मुद्दे की बात करें तो यहां पार्टियों ने राष्ट्रीय सुरक्षा से लेकर ट्रैफिक जाम, आतंकवाद से लेकर बेरोजगारी और पॉलुशन से लेकर पार्किंग तक मुद्दे उठाये।  समाज के सभी वर्गों को राजनीतिक दलों ने संबंधित करने के प्रयास किये।

एक्टर प्रकाश राज से लेकर शत्रुघ्न सिन्हा तक ने किया कैंपेन
प्रचार की बात करें तो आम आदमी पार्टी के पक्ष में उसके नेताओं के अलावा देशभर में बीजेपी विरोध के लिए मशहूर एक्टर प्रकाश राज और अभिनेत्री स्वरा भास्कर ने भी कैंपेन किया। बीजेपी के लिए पीएम मोदी के अलावा अमित शाह से लेकर राजनाथ सिंह और हेमा मालिनी तक ने कैंपेन किया।  कांग्रेस की ओर से प्रियंका गांधी, नवजोत सिंह सिद्धू , राज बब्बर और शत्रुघ्न जैसे नेताओं ने कैंपेन की जिम्मेदारी संभाली।