अर्बन माओवाद को बढ़ावा देने में जुड़ रहे पांचों के तार

पुणे समाचार ऑनलाइन

आज देशभर में पुणे पुलिस की टीम द्वारा माओवादी संबंध में सर्च ऑपरेशन के दौरान पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया। अर्बन माओवादी को बढ़ावा देने में गिरफ्तार किए गए पांच लोगों के तार जुड़ते हुए नजर आ रहे हैं। जिसके आधार पर पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया है। देश की बड़े शहरों में यह सर्च ऑपरेशन किया गया। अर्बन माओवादी को बढ़ाने के लिए पांचों कार्य किया करते थे, इन सभी का इसमें अहम भूमिका का सबूत पुणे पुलिस को प्राप्त हुए हैं।

एलगार परिषद संबंधी पुणे में विश्रामबाग पुलिस स्टेशन में केस दर्ज किया गया था। जिसके आधार पर पहले पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया था। उस पूछताछ में अर्बन माओवादियों को बढ़ावा देनेवाले कनेक्शन में इन पांच लोगों का नाम सामने आया। पुणे पुलिस ने आज माओवादियों की गतिविधियों से जुड़ी पांच लोगों की हालिया गिरफ्तारी के सिलसिले में दिल्ली, मुंबई, हैदराबाद, गोवा, हरियाणा और छत्तीसगढ़ समेत विभिन्न शहरों में सर्च ऑपरेशन किया। पुलिस के मुताबिक, माओवादियों के लिंक वाले व्यक्तियों के निवासों पर सर्च ऑपरेशन किया गया और जो ‘एलगार परिषद’ के आयोजकों से सीधे या अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े थे।

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पुणे पुलिस के सूत्रों के मुताबिक हैदराबाद में लेफ्ट विंग कार्यकर्ता और कवि वारावर राव के घर की तलाशी ली गई। वर्नन गोंसल्विस को गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) के तहत, मुंबई में कार्यकर्ता अरुण फेरेरा, ट्रेड यूनियनिस्ट सुधा भारद्वाज और मानव अधिकार कार्यकर्ता गौतम नवलाखा को दिल्ली से और देश के अन्य हिस्सों में अन्य व्यक्ति को गिरफ्तार किया गया।

पुलिस ने रोना विल्सन से एक पत्र जब्त किया था, वह पत्र मिलिंद अंडर ग्राऊंड माओवादी मिलिंद तेलतुंबडे द्वारा लिखा गया था, जिसमें वारावर राव का नाम कथित तौर पर उल्लेख किया गया था। रोना विल्सन को इस साल जून में सुधीर ढवले, सुरेंद्र गडलिंग, महेश राउत और शोमा सेन के साथ दिल्ली से गिरफ्तार किया गया था।

पुलिस के अनुसार, आज का सर्च ऑपेरशन पिछली गिरफ्तारी के संबंध में हैं। “एलगार परिषद से संबंधित मामले की जांच करते समय, कुछ लोगों के नाम सामने आए। जबकि आगे की जांच करते हुए, हमने पाया है कि वे प्रतिबंधित संगठन सीपीआई (माओवादी) के साथ निकटता से जुड़े हुए हैं। इन पांचों की गतिविधियां माओवादी से जुड़ी साजिश और भागीदारी में दिखाई देती है। पुणे पुलिस के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, “हिंसा पैदा करने का इरादा स्पष्ट रूप से गैरकानूनी गतिविधियों (रोकथाम) अधिनियम के प्रावधानों के तहत आता है और इसलिए, विभिन्न स्थानों पर सर्च ऑपरेशन किया है।”