महाराष्ट्र सरकार के प्रस्ताव को हाईकोर्ट में चुनौती

मुंबई।
महाराष्ट्र सरकार उन कर्मचारियों को बर्खास्त करने की तैयारी में है जिन्होंने फर्जी जाति प्रमाणपत्र का उपयोग करके सरकारी नौकरियों को हासिल किया है। राज्य सरकार ने ऐसे कर्मचारियों को बर्खास्त करने की प्रक्रिया शुरू करने के लिए एक कैबिनेट उपसमिती भी नियुक्त कर दी है।
द स्टेट जनरल एडमिनिस्ट्रेशन डिपार्टमेंट (जीएडी) ने इस सिलसिले में एक सरकारी प्रस्ताव (जीआर) जारी किया है।
वहीं आदिवासियों के अधिकारों के लिए काम करने वाले एक गैर सरकारी संगठन ने बॉम्बे उच्च न्यायालय में इस सरकारी प्रस्ताव (जीआर) को चुनौती देने का फैसला किया है, जिसमें आरोप लगाया गया है कि सरकार कार्रवाई में देरी कर रही है। एनजीओ के मुताबिक
राज्य सरकार जाली जाति प्रमाण पत्रों का उपयोग करके नौकरियां प्राप्त करने वाले कर्मचारियों पर करवाई के मुद्दे पर अत्यधिक सतर्कता बरत रही है।
6 जुलाई, 2017 को, सुप्रीम कोर्ट ने एक आदेश पारित किया कि यदि कोई शिक्षा या रोजगार कोटा लेने के लिए फर्जी जाति प्रमाण पत्र का उपयोग करने का दोषी पाया गया तो वो अपनी डिग्री और नौकरियां खो देंगे।