मिजोरम सैनिक स्कूल में पहली बार पढ़ेंगी लड़कियां

गुवाहाटी।
मिजोरम के चिंगचिप में स्थित सैनिक स्कूल में सोमवार को छह लड़कियों ने पहली बार प्रवेश लिया, जिससे मिजोरम का यह सैनिक स्कूल देश का पहला ऐसा सैनिक स्कूल बन गया है, जिसने अपने यहां लड़कियों को पढ़ने की इजाजत दी है। मिज़ोरम का यह सैनिक स्कूल देश के 26 सैनिक स्कूलों में से सबसे नया है। डिफेंस पीआरओ कर्नल सी कोनवेर ने कहा कि 4 जून को मिजोरम के चिंगचिप सैनिक स्कूल ने इतिहास बनाया है। यहां कक्षा 6 में 54 लड़कों के साथ 6 लड़कियों को भी प्रवेश मिला। चिंगचिप सैनिक स्कूल देश का पहला ऐसा सैनिक स्कूल सोसायटी द्वारा संचालित सैनिक स्कूल बन गया है, जहां लड़कियां कैडेट्स शामिल की गई हैं।उन्होंने कहा कि इस ऐतिहासिक दिन पर स्कूल प्रिंसिपल लेफ्टिनेंट कर्नल इंद्रजीत सिंह ने 2017-18 बैच के 60 कैडेट्स का स्वागत किया। इन 60 कैडेट्स में 6 गर्ल कैडेट्स भी शामिल थीं। इन लड़कियों को चयन प्रक्रिया द्वारा ही चुना गया। लिखित टेस्ट के बाद उनका साक्षात्कार लिया गया और फिर उनका चयन हुआ। उन्होंने कहा, सैनिक स्कूल की स्थापना नेशनल डिफेंस एकेडमी, खडकवासला पुणे और इंडियन नवल एकेडमी के लिए छात्रों को तैयार करने के लिए की गई थी। अभी तक एनडीए और आईएनए में सिर्फ लड़कों को लिया जाता था, लेकिन अब वहां भी लड़कियों को प्रवेश मिलने लगा है।
गौरतलब है कि यूपी सैनिक स्कूल ने पहली बार इस साल अप्रैल में लड़कियों का पंजीकरण किया था। इस स्कूल को फंड प्रदेश सरकार देती है। जो स्कूल सैनिक स्कूल सोसायटी द्वारा संचालित होते हैं, यूपी का सैनिक स्कूल उनसे अलग हैं। सैनिक स्कूल सोसायटी द्वारा संचालित स्कूल रक्षा मंत्रालय के अंतर्गत आते हैं। इस सोसायटी के चेयरमैन रक्षा मंत्री होते हैं।

सतारा में सबसे पहला सैनिक स्कूल
पहला सैनिक स्कूल 1961 में महाराष्ट्र के सतारा में खोला गया था। उसी साल कुछ महीने बाद चार और स्कूल हरियाणा के कुंजपुरा, पंजाब के कपूरथला, गुजरात के बालाचडी और राजस्थान के चित्तौड़गढ़ में खोले गए।