विधायक जगताप ने की कुंए और बोरवेल कब्जे में लेने की मांग

पुणे : समाचार ऑनलाइन – पानी की किल्लत को मात देने के लिए नए निर्माणकार्यों को अनुमति न देने, अवैध नल कनेक्शन लेने वालों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज कराने की सूचना के बाद भाजपा के शहराध्यक्ष विधायक लक्ष्मण जगताप ने पिंपरी चिंचवड शहर के सारे कुंए और बोरवेल को कब्जे में लेने की मांग की है। उन्होंने मनपा आयुक्त श्रावण हार्डिकर को भेजे एक खत में कहा है कि इससे पहले कि शहर में पानी की किल्लत तीव्र बन जाए जिलाधिकारी के माध्यम से शहर के कुंए और बोरवेल कब्जे में लेकर शहरवासियों को पानी मुहैया कराया जाय।

विधायक जगताप ने इस पत्र में कहा है कि, शहर की आबादी वृद्धि का दर देश के दूसरे शहरों की तुलना में काफी ज्यादा है। हर साल 10 फीसदी आबादी बढ़ रही है। सरकारी आंकड़ों के अनुसार 2011 में शहर की आबादी 17 लाख 30 हजार थी जो आज 27 लाख तक पहुंच गई है। नौ सालों में शहर की आबादी 10 लाख से बढ़ी है। राज्य के जलसंपदा विभाग ने 17 लाख की आबादी के हिसाब से पवना बांध का 379 एमएलडी पानी का कोटा मंजूर किया है। जबकि शहर की आबादी 27 लाख तक पहुंच गई है।पानी की अतिरिक्त मांग को पूरा करने के लिए भामा-आसखेड बांध से 167 एलएलडी, आंद्रा बांध से 100 एमएलडी व पवना बांध से 133 एमएलडी कुल 400 एमएलडी पानी का कोटा मंजूर किया गया है। मगर इस पानी को शहर में लाने में समय लगेगा। तब तक उपलब्ध पानी का योग्य नियोजन करना जरूरी है।

उपलब्ध पानी के नियोजन के लिए नए निर्माणकार्यों को अनुमति देने पर रोक लगाने और अवैध नल कनेक्शन लेने वालों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज करने की मांग विधायक जगताप ने की है। उनके मुताबिक मनपा द्वारा अनुमति दिए गए निर्माणकार्यों में करीबन दो लाख फ्लैट का निर्माण पूर्णत्व की ओर है। इससे शहर की आबादी और पानी की मांग और बढ़ जाएगी। परिणामस्वरूप पानी की किल्लत और गंभीर बन जाएगी। अतिरिक्त पानी को शहर में लाने की योजना पूर्ण होने तक दूसरे विकल्पों के विचार करना जरूरी है। शहर में जगह- जगह कुंए और बोरवेल खोदे गए हैं। इनमें से कुछ लोगों ने अपने ख़र्च से खोदे हैं तो कुछ सरकारी खर्च पर। इन कुंओं और बोरवेलों का पानी लोगों को उपलब्ध कराया जाय तो किल्लत कुछ हद तक कम हो सकेगी। वैसे भी ज्यादातर कुंओं और बोरवेलों के पानी पर टैंकर माफियाओं का कब्जा है। नई व बड़ी हाऊसिंग सोसायटियों को मनमाने दाम पर टैंकर उपलब्ध कराकर टैंकर माफिया अपनी जेबें भर रहे हैं।