लंदन : समाचार एजेंसी – पाकिस्तान को हराने के बाद टीम इंडिया का मनोबल सातवें आसमान पर है। मौजूदा समय में भारतीय टीम 4 नंबर पर है। भारत के लिए इस बार वर्ल्ड कप का आगाज बेहद शानदार रहा है। हालांकि कुछ खिलाड़ी चोट से जरूर जूझ रहे है। वर्ल्ड कप से शिखर धवन के बाहर होने के बाद भुवनेश्वर कुमार और विजय शंकर भी चोटिल हो गए। इन सब के बावजूद भारतीय टीम के हौसले बुलुंद है। आज टीम इंडिया अफगानिस्तान के खिलाफ जीत दर्ज़ करने उतरेंगी। टीम के मौजूदा फॉर्म को देखर लगता भी है कि टीम ये मैच आसानी से जीत जाएगी। हालांकि अफगानिस्तान जो लगभग-लगभग वर्ल्ड कप से बाहर हो चुकी है। वो भी बड़ा उलटफेर करना चाहेगी।
मैच के पहले विराट कोहली का बयान भी सामने आया है। कोहली ने कहा है कि ”हम किसी भी मैच को हलके में नहीं लेंगे। ये वर्ल्ड कप है यहां कोई कभी भी बाजी पलट सकती है इसलिए टीम बड़ी हो या छोटी हम हर मैच में अपना बेस्ट प्रदर्शन करेंगे”।
टीम इंडिया की मजबूती और कमजोरी –
बात करें टीम इंडिया कि तो रोहित शर्मा, विराट कोहली और केएल राहुल जबरजस्त फॉर्म में हैं। जबकि गेंदबाजी में जसप्रीत बुमराह, चहल, कुलदीप बेहतरीन फॉर्म में है। पाकिस्तान के साथ खेले गए मैच के दौरान भुवनेश्वर कुमार चोटिल हो गए थे। भुवी शायद आज का मैच नहीं खेलेंगे। साथ ही विजय शंकर को भी चोटिल लगने की खबर सामने आई थी। अगर इस मैच में भुवी और शंकर नहीं खेलते है तो टीम में काफी बदलाव देखने को मिलेगा। भुवी के जगह टीम में मोहम्मद शमी को शामिल किया जा सकता है। जबकि शंकर की जगह दिनेश कार्तिक या रिषभ पंत को टीम में शामिल किया जा सकता है। हालांकि शंकर एक ऑल राउंडर के रूप में टीम में खेल रहे है जिसको देखर जडेजा का भी नाम सामने आ रहा है।
अफगानिस्तान की मजबूती –
अफगानिस्तान की टीम अब तक हुए अपने सभी पांचों मैच हार चुकी है हालांकि भारत को इसके बावजूद आज इस विश्व कप में अफगानिस्तान के खिलाफ मैच में उसकी स्पिन त्रिमूर्ति से जरूर चौकस रहना होगा। 2019 विश्व कप में अफगानिस्तान की स्पिन त्रिमूर्ति का प्रदर्शन मिला जुला रहा है। मोहम्मद नबी ने पांच मैचों में चार विकेट लिए हैं। इस दौरान उनका इकोनॉमी रेट 5.31 का रहा वहीं राशिद खान ने पांच मैचों में तीन विकेट लिए। वे थोड़े महंगे साबित हुए. उन्होंने 7.03 की इकोनॉमी से रन दिए। मुजीब उर रहमान ने तीन मैचों में एक विकेट लिया। उनका इकोनॉमी रेट 6.05 का रहा। इस वर्ल्ड कप से पहले अफगानिस्तान की टीम से काफी उम्मीदें थीं। मगर टीम की गेंदबाजी के साथ बल्लेबाजी भी बुरी तरह नाकाम रही है।