बुराड़ी कांड की मिस्ट्री सुलझी; फांसी लगने से हुई थी 10 की मौत

नई दिल्ली : समाचार ऑनलाइन

पूरे देशभर को झकझोर कर रख देनेवाले बुराड़ी कांड में 11 में से 10 लोगों की मौत के मामले की मिस्ट्री से पर्दा उठ गया है। पुलिस को भाटिया परिवार के दस लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिल गई है। इससे खुलासा हुआ है कि 10 लोगों की मौत फांसी लगने से हुई है। चर्चा है कि पुलिस व एक मीडिया संस्थान को एक पत्र मिला है। इसमें दावा किया गया है कि वह भाटिया परिवार को जानता है और उसने उन्हें कराला में एक तांत्रिक के पास आते-जाते देखा है। हांलाकि पुलिस ने इस पत्र के बारे में कोई पुष्टि नहीं की है।

भाटिया परिवार के 11 लोगों के शवों का मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज के तीन-तीन डॉक्टरों के दो मेडिकल बोर्ड ने पोस्टमार्टम किया था। 11 में से दस लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिली है, इससे खुलासा हुआ है कि शरीर पर चोट आदि के निशान नहीं थे। हत्या जैसी कोई बात सामने नहीं आई है। पुलिस अधिकारियों के मुताबिक नारायणी देवी की पोस्टमार्टम रिपोर्ट एक-दो दिन में मिलने की संभावना है। पुलिस एक-दो दिन में 11 लोगों के विसेरा को फोरेंसिक जांच के लिए भेज देगी।

जांचेंगे हैंडराइटिंग के नमूने

दिल्ली पुलिस ने हैंडराइटिंग के नमूने एकत्र करना शुरू कर दिया, ताकि पता लगाया जा सके कि घर से जो रजिस्टर मिले हैं, वह किसने लिखे थे? पुलिस ने बुराड़ी स्थित एक स्कूुल, बैंक और तिमारपुर स्थित स्कूल को हैंडराइटिंग के नमूने लेने के लिए पत्र लिख दिया है। तिमारपुर स्थित स्कूल में भाटिया परिवार के बच्चे शिवम और ध्रुव पढ़ते थे। पुलिस ने प्रियंका के कार्यालय में पत्र लिखकर हैंडराइटिंग के नमूने मांगे हैं।

गुमनाम खत में तांत्रिक का उल्लेख

चर्चा है कि पुलिस व एक मीडिया संस्थान को एक पत्र मिला है। इसमें दावा किया गया है कि वह भाटिया परिवार को जानता है और उसने उन्हें कराला में एक तांत्रिक के पास आते-जाते देखा है। पत्र भेजने वाले ने खुद को कराला का निवासी बताया है। अपराध शाखा के संयुक्त पुलिस आयुक्त आलोक कुमार ने ऐसा पत्र मिलने से साफ इनकार किया है।