Toll collection | महाराष्ट्र : नुकसान भरपाई के रूप में सातारा रोड टोल कॉन्ट्रैक्टर को छह महीने की छूट 

पुणे (pune news) 30 जून : लॉकडाउन (lockdown) की अवधि में नुकसान सहने वाले पुणे-सातारा रोड (pune news) के टोल कॉन्ट्रैक्टर (Toll collection) को टोल की रकम का सरकार का हिस्सा जमा कराने के लिए छह महीने की छूट दी गई है।  यह जानकारी सुचना के अधिकार कानून के तहत  सामने आई है। लॉकडाउन (lockdown) की वजह से टोल कॉन्ट्रैक्टर (Toll collection) का नुकसान होने की वजह से केंद्रीय भूतल मंत्रालय और वित्त मंत्रालय ने देश के टोल कॉन्ट्रैक्टर को नुकसान भरपाई देने की पॉलिसी तय की थी।  इसके तहत लॉकडाउन (lockdown) के दौरान के सम्पूर्ण और बाद में ट्रैफिक पहले के सप्ताह की तुलना में 90% नहीं होता है तब तक नुकसान को देखते हुए कॉन्ट्रैक्टर को नुकसान भरपाई देने का मापदंड तय किया गया है।

इसके अनुसार अप्रैल से सितंबर 2020 के दौरान कॉन्ट्रैक्टर्स को टोल रकम का सरकार का हिस्सा भरने में छूट दी गई है।  यह जानकारी सुचना के अधिकार कानून के तहत सामने आई है।

काम अभी तक जारी

पुणे-सातारा नेशनल हाईवे फोर लेन का था, उसे 6 लेन का बनाने एक काम जारी है। यह काम 1 अक्टूरबर 2010 में शुरू हुआ था।  मूल कांट्रेक्टर को यह काम 31 मार्च 2013 में पूरा करना था।  लेकिन यह काम अभी तक जारी है।
नेशनल हाईवे ऑथिरिटी ने लगातार इस कार्य को अतिरिक्त समय दिया।
इस अधूरे काम की वजह से पिछले 11 साल में इस सड़क पर सैकड़ों सड़क दुर्घटनाएं हो चुकी है और कई निर्दोष नागरिकों की जान चली गई।
काम अधूरा होने के बावजूद कॉन्ट्रैक्टर का रेट लगातार बढ़ाया जा रहा है।

प्राधिकरण ने इससे पहले कॉन्ट्रैक्टर को कई नोटिस दिए है।  लेकिन आगे कोई कार्रवाई नहीं हुई। इसलिए सड़क का काम पेंडिंग है।  

आम नागरिकों से लेकर उधोग धंधों तक सभी का लॉकडाउन की वजह से बड़ा नुकसान हुआ है।
उन्होंने यह एक्ट ऑफ़ गॉड के रूप में बर्दाश्त किया।  ऐसे में केवल टोल कॉन्ट्रैक्टर को नुकसान भरपाई देना यानी शेष लोगों के साथ घोर अन्याय है – विवेक वेलणकर, अध्यक्ष, सजग नागरिक मंच, पुणे

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